मध्य प्रदेश के छतरपुर जिले के राजनगर में मुस्लिम समाज द्वारा ईद-ए-मिलादुन्नबी का जुलूस नहीं निकाला जाएगा. मुस्लिम समाज ने यह फैसला 21 अगस्त की घटना की वजह से लिया है. मुस्लिम समाज ने शासन-प्रशासन से मांग की है कि जब तक बेगुनाहों को न्याय नहीं मिल जाता, तब तक हम कोई भी त्योहार धूमधाम से नहीं मनाएंगे.
बता दें, छतरपुर सिटी कोतवाली थाने में हुई पत्थरबाजी की घटना घटित हुई थी. इस घटना के बाद पुलिस ने 46 नाम सहित 150 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था. इसमें मुख्य आरोपी सहित कई लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि कई फरार हैं. पत्थरबाजी में शामिल 6 आरोपियों के आपराधिक रिकॉर्ड के आधार पर पुलिस अधीक्षक अगम जैन ने कलेक्टर पार्थ जायसवाल को जिला बदर का प्रस्ताव भेजा है.
पुलिस के अनुसार, नाजिम चौधरी पिता अजीज चौधरी उम्र 45 साल निवासी पठापुर रोड, जावेद मुंट पिता शेख यूनिस उम्र 26 साल निवासी रानी तलैया छतरपुर, अरमान राईन पिता भल्लू राईन उम्र 31 साल निवासी हटवारा मोहल्ला, मुरली उर्फ जुनैद उर्फ शाहिद पिता समी खान उम्र 29 साल निवासी मस्तान शाह कॉलोनी, रफत खान पिता हस्मत खान उम्र 49 साल निवासी महलों के पीछे, युसूफ राईप उर्फ जरेला पिता इस्माइल राईन उम्र 45 साल निवासी बड़ी कुजरहटी कोतवाली इलाके निवासी हैं, जिन्हें जिला बदल की कार्रवाई के लिए प्रस्तावित किया है.
'सार्वजनिक हों 150 नाम'
मुस्लिम समाज ने शासन प्रशासन से मांग की है कि घटना के बाद जिन 150 अज्ञात लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है, उन सभी नामों को सार्वजनिक किया जाए. साथ ही घटना की सीबीआई जांच की जाए और मुंबई के रामगिरी महाराज की गिरफ्तारी की जाए. मुस्लिम समाज के लोगों का कहना है कि अब भी डर का माहौल बना हुआ है. लोग अपने घरों से बाहर नहीं आ रहे हैं